नौवहन
नौवहन क्षेत्र इन द्वीपवासियों के लोगों के लिए जीवन रेखा है और एक तरफ इसने मुख्यनभूमि-द्वीप के बीच लोगों और सामग्रियों को लेने-लेजाने के लिए गतिशीलता प्रदान की और दूसरे ओर अर्न्तवद्वीपों के बीच यातायात करने की प्रगति में स्पष्ट गतिशीलता प्रदान की है। नौवहन सेवा निदेशालय (डीएसएस) प्रशासन के स्वामित्व वाले जहाजों के प्रबंधन, रखरखाव और संचालन के लिए उततरदायी है। वर्तमान में विभाग 36 द्वीपों में से 29 आबाद द्वीपों में नौवहन सेवाएं प्रदान कर रहा है
जहाजरानी मुख्य भूमि-द्वीप के मघ्या यात्री और सामानों के लिए मुख्य माध्यम है और अर्न्तनद्वीपों के मध्यप परिवहन का एकमात्र साधन है। विभाग लगभग सभी क्षेत्रों में नियमित सेवा प्रदान करवाने में सक्षम रहा है।
जहाजरानी निदेशालय द्वारा वर्तमान में चार क्षेत्रों में 71 जहाजों का संचालन करता है। य़े हैं
- मुख्य भूमि-द्वीप: पोर्ट ब्लेयर और कोलकाता / चेन्नई / विज़ाग के बीच सेवा प्रदान करने के लिए ।
- अर्न्ताद्वीपीय क्षेत्र: पोर्ट ब्लेयर और द्वीप समूह के दूरस्थ समूह के बीच सेवाएं प्रदान करना ।
- फोर शोर सेक्टर: पोर्ट ब्लेयर और द्वीपों के नजदीक सेवाओं के बीच सेवाएं प्रदान करना।
- हार्बर फेरी सेक्टर: नौका जहाजों द्वारा हर्वर के मध्ये तथा संकीर्ण खाड़ी के भीतर सेवाएं प्रदान करना।